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जून 11, 2023 की पोस्ट दिखाई जा रही हैं

वित्तीय वर्ष 2025-26 के लिए विभागीय आय व्ययक तैयार किये जाने के सम्बन्ध में

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वित्तीय वर्ष 2025-26  के लिए विभागीय आय व्ययक  पेज 01  पेज 02  YOU MAY ALSO LIKE IT- हिममेधा ब्लॉग उत्तराखण्ड में शिक्षकों को दुर्गम की सेवाओं का दोगुना लाभ मिलना शुरू  इस पड़ौसी राज्य में अब सहायक अध्यापक भी बन सकेंगे प्रधानाचार्य  प्रोजेक्ट कार्य सामाजिक विज्ञान- यूरोप में समाजवाद और रुसी क्रांति  सीबीएसई परीक्षा में स्कूल ने गलती से छात्रा को दे दिए जीरो मार्क्स, अब कोर्ट ने लगाया 30 हजार रूपये का जुर्माना  उत्तराखण्ड बोर्ड ने घोषित की प्रैक्टिकल और बोर्ड परीक्षा की डेट

उत्तराखण्ड में ट्रैफिक जाम से मिलेगी मुक्ति

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मुख्यमंत्री जी ने दिए दीर्घकालिक योजना आदेश  मुख्यमंत्री जी  पर्यटन उत्तराखण्ड की अर्थव्यवस्था में मुख्य भूमिका निभाता है लेकिन पर्वतीय राज्य होने के कारण यहां परिवहन के साधन सीमित है और उस पर भी आपदा सबसे बड़ी चुनौती बनी रहती है, गर्मी के महीनों में पर्यटक स्थलों पर तो भीड़ इतनी बढ़ जाती है हर जगह ट्रैफिक जाम की समस्या बनी रहती है ,यहाँ तक कि ट्रैफिक डायवर्सन कराना भी कम पड़ जाता है, देहरादून के साथ साथ ऋषिकेश , मसूरी , नैनीताल में हर वर्ष ये समस्या बनी रहती है , इसलिए अब सरकार इसके समाधान के लिए 25 वर्षीय ट्रैफिक प्लान पर काम कर रही है |  उत्तराखंड सरकार ने इसके लिए राज्य के सभी नागरिकों ओर व्यापारियों से सुझाव आमंत्रित किये है कि पर्यटकों की परेशानी और ट्रैफिक जाम की समस्या का कोई दीर्घकालीन समाधान निकाला जा सकें , मुख्यमंत्री जी ने इसका एक समाधान बताया है कि बाहर राज्य से पर्यटक देहरादून या ऋषिकेश पहुंचे तो वे अपने वाहनों को देहरादून में ही छोड़कर सार्वजनिक वाहनों से मसूरी या अन्य पर्यटक स्थलों घूमने जाएँ लेकिन इसके लिए देहरादून में बडे पैमाने पर पार्किंग और सार्वजानिक वाहनों की संख्या

मुस्लिम संस्था देवबंद के खिलाफ राष्ट्रीय बाल आयोग ने की शिकायत

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राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग और दारुल उलूम में छिड़ी रार  राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण (NCPCR)  अल्पसंख्यक आयोग और राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण (NCPCR) ने हाल ही में इस्लामिक  मदरसा  दारुल उलूम देवबन्द सहारनपुर , उत्तर प्रदेश के एक फतवे के विरुद्ध सहारनपुर के डिस्ट्रिक्ट मजिस्ट्रेट के समक्ष लिखित शिकायत दर्ज कराई है जिसको लेकर नयी शिक्षा नीति के लागू करने से लेकर दूसरी भाषाओं के अध्ययन को लेकर एक नयी बहस छिड़ती दिखाई दे रही है |  इस्लामिक मदरसा दारुल उलूम देवबन्द सहारनपुर ने अपने एक नोटिस में कहा है कि अगर उसके मदरसे में कोई भी छात्र अंग्रेजी या कोई दूसरी भाषा सीखता है तो उसी समय बिना किसी नोटिस के मदरसे से बाहर निकाल दिया जाएगा , नोटिस में ये भी लिखा गया है कि दारुल उलूम के पाठ्यक्रम के अतिरिक्त यदि कोई छात्र कुछ भी सीखता है तो भी उसे तत्काल बाहर कर दिया जाएगा और बाहर भी इस नियम के लिए ऐसे ही कदम उठाये जाएंगे ये कार्यवाही सिर्फ मदरसे के अंदर ही नहीं , बाहर भी होगी | इस नोटिस के विरुद्ध  राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण (NCPCR)  के प्रमुख ने जनपद प्रमुख सहारनपुर के यहाँ शिकायत दर्ज की ह

दुनिया के सबसे अच्छे स्कूल में भारत के 5 स्कूल भी शामिल

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WORLD  BEST SCHOOL  एजुकेशन एंड द वर्ल्डस बेस्ट स्कूल प्राइज  एजुकेशन एंड द वर्ल्डस बेस्ट स्कूल प्राइस के संस्थापक श्री विकास कुमार पोता ने कहा कि अब दुनिया भर के स्कूल भारतीय संस्थानों और उनके द्वारा विकसित शैक्षिक संस्कृति के बारे में बहुत कुछ जान पाएंगे और अपनी जिज्ञासा को शांत कर पाएंगे |विश्व के सर्वश्रेठ स्कूल पुरस्कार 2023 के लिए पहली बार भारत के पांच स्कूल्स को शॉर्टलिस्टेड किया गया है जो कि भारत की शिक्षा पद्धति के ऊँचे और वैश्विक स्तर को दिखाता है , विश्व के सर्वश्रेष्ठ स्कूल पुरस्कार की सूची में अलग अलग कैटेगरी में टॉप टेन की लिस्ट में इन स्कूलों को शॉर्टलिस्ट किया गया है , इस अवार्ड की प्राइज धनराशि 250000 अमेरिकी डॉलर है |   इस शॉर्टलिस्टेड लिस्ट में दिल्ली का एक सरकारी स्कूल भी शामिल है इस सरकारी स्कूल का नाम है नगर निगम प्रतिभा बालिका विद्यालय (NPBV) F  ब्लॉक , दिलशाद कॉलोनी ,दिल्ली , भारत के इन पांच स्कूलों में दिल्ली , गुजरात , और महाराष्ट्र के स्कूल शामिल है,   नगर निगम प्रतिभा बालिका विद्यालय (NPBV) के अतिरिक्त इस सूची में ओबेरॉय इंटरनेशनल स्कूल मुंबई , रिवरसाइड इंटर

उत्तराखंड में यूनिफॉर्म सिविल कोड

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समान नागरिक संहिता कानून (यूनिफॉर्म सिविल कोड) समान नागरिक संहिता कानून  क्या है  समान नागरिक संहिता कानून- समान नागरिक संहिता कानून (UCC) का अर्थ होता है कि भारत में सभी नागरिकों के लिए एक समान कानून का होना , चाहें वो किसी भी धर्म या जाति का क्यों न हो | इसके लागू हो जाने से सभी धर्मों के लिए एक ही कानून लागू किया जा सकेगा | शादी,तलाक,जमीन जायदाद के बंटवारें में सभी धर्मों के लिए एक प्रकार का कानून ही लागू होगा |  समान नागरिक संहिता कानून(UCC) का अर्थ है एक निष्पक्ष कानून का होना जिसका किसी धर्म से कोई सम्बन्ध नहीं हो |  समान नागरिक संहिता कानून(UCC) का उदेश्य कानूनों का समान सेट प्रदान करना है जो सभी लोगों पर एक समान रूप से लागू हो |  देश के संविधान के अनुच्छेद 44 में भी  समान नागरिक संहिता कानून(UCC) को लेकर स्पष्ट रूप से उल्लेख किया गया है इसमें लिखा गया है कि राज्य भी इसे लागू कर सकते है इसका उदेश्य धर्म के आधार पर किसी भी वर्ग विशेष के साथ होने वाले भेदभाव या पक्षपात को खत्म करना है | संविधान के भाग-4  में मौजूद राज्य के नीतिनिर्देशक तत्व में भी इसका उल्लेख है |  नहीं है संवैधान

पुरानी और ख़राब फोटो को AI एप्स से सुधारें

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पुरानी फोटो को AI सवारें  AI है कमाल  खराब और पुरानी फोटो को AI ऐप्स के माध्यम से चमका पाने के लिए निम्नलिखित कदमों का पालन करें: एक उच्च-क्वालिटी AI फोटो एडिटिंग ऐप चुनें: ऐप स्टोर या वेब ब्राउज़र के माध्यम से उच्च-क्वालिटी AI फोटो एडिटिंग ऐप्स की खोज करें और एक अच्छी एप चुनें। Adobe Photoshop, Lightroom, Snapseed आदि उपयोगकर्ता द्वारा पसंद की जाने वाली कुछ लोकप्रिय विकल्प हैं। फोटो ऐप में फोटो अपलोड करें: ऐप को खोलें और फोटो अपलोड करने के लिए संबंधित विकल्प चुनें। ऑटो एनहांसमेंट (Auto Enhancement) या ऑटो रिपेयर (Auto Repair) का उपयोग करें: कई AI ऐप्स ऑटोमेटिक रूप से फोटो को एनहांस करने के लिए विकल्प प्रदान करते हैं। इसे चुनें और देखें कि क्या फोटो की गुणवत्ता में सुधार होता है। यदि फोटो अपनी पूरी गुणवत्ता नहीं बदलता है, तो आगे के कदमों का पालन करें। एडिटिंग टूल्स का उपयोग करें: AI ऐप्स में विभिन्न एडिटिंग टूल्स शामिल होते हैं जो आपको फोटो को बेहतर बनाने में मदद कर सकते हैं। इन टूल्स के माध्यम से आप फोटो का एक्सपोजर, कंट्रास्ट, विविधता, संतुलन आदि को समायोजित कर सकते हैं। रीस्टोरेशन फ

भारतीय जनजातियां - सन्थाल

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 संथाल जनजाति मुख्यधारा में आ रही है  INDIAN TRIBE संथाल जनजाति भारत की एक प्रमुख आदिवासी जनजाति है, जो मुख्य रूप से पूर्वी और उत्तरी भारत में निवास करती है। यह जनजाति अपनी विशेष सांस्कृतिक और ऐतिहासिक पहचान के लिए प्रसिद्ध है। संथाल लोगों की भाषा "संथाली" है, जो ऑस्ट्रो-आशियाई भाषा परिवार का हिस्सा है। इस भाषा को लिखित रूप में लिखा जाता है और उसमें अपनी स्वतंत्र लिपि होती है, जिसे "ओल चिकी" कहा जाता है। संथाल जनजाति की संस्कृति बहुत धर्म-और शक्ति प्रधान होती है। उनके धार्मिक अनुयाय धार्मिकता में विश्वास करते हैं, जो प्राकृतिक देवताओं, पितरों और विशेष देवी-देवताओं के प्रतीकों के आसपास घूमती है। इसके अलावा, संथाल जनजाति के पास अपनी खुद की सांस्कृतिक और नृत्य विरासत है, जिसमें धार्मिक और गैर-धार्मिक अवसरों पर नृत्य और संगीत का प्रदर्शन शामिल होता है। संथाल जनजाति के लोगों की मुख्य आर्थिक गतिविधियाँ कृषि, मेहनत, चिकित्सा और शिल्प के आधार पर होती हैं। पहले संथाल लोग जंगल में खेती करते थे, लेकिन अब वे धीरे-धीरे परम्परागत खेती के साथ-साथ मॉडर्न गतिविधियों के प्रति भी आकर्

खत्म होगी पेंशन और ग्रेच्युटी !

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केंद्र सरकार ने कर्मचारियों के लिए बदला नियम  पेंशन और ग्रेच्युटी      केंद्र सरकार ने कर्मचारियों की पेंशन और ग्रेच्युटी सम्बन्धी नियमों में बड़ा बदलाव किया है इसके अंतर्गत यदि सरकारी कर्मचारी केंद्र सरकार की चेतावनी को अनदेखा करते है तो उन्हें रिटायरमेंट के समय पेंशन और ग्रेच्युटी दोनों से वंचित रहना पड सकता है,  केंद्र सरकार ने कहा है कि यदि कोई केंद्रीय कर्मचारी अपने दायित्व और कर्तव्यों के प्रति लापरवाही बरतता है तो रिटायरमेंट के बाद उसकी पेंशन और ग्रेच्युटी रोक दी जाएगी , फिलहाल ये आदेश केवल केन्द्रीय सरकारी कर्मचारियों के लिए ही लागू होगा लेकिन भविष्य में राज्य सरकारें भी इसे लागू कर सकती है |  रूल- 08 (नियम 2021) में हुआ परिवर्तन -  केंद्र सरकार ने सेंट्रल सिविल सर्विसेज (पेंशन सम्बन्धी) रूल 2021 के अंतर्गत एक नोटिफिकेशन जारी कर रूल संख्या 8 में बदलाव किया है इसमें कुछ नए नियम ,अनुबंध और प्रावधान जोड़े गए है जिनमें सबसे मुख्य प्रावधान ये है कि यदि केंद्रीय सरकारी कर्मचारी अपने सम्पूर्ण सेवाकाल के दौरान किसी गंभीर अपराध या लापरवाही के लिए दोषी पाए जाते है तो रिटायरमेंट के बाद उनकी

कचरा फेकनें वालों की वीडियो दिखाओं 2500 रूपये ले जाओ

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सड़क पर कचरा फेंका तो सरकार करेगी कार्यवाही  कचरा मुक्त प्रदेश  सामाजिक दायित्व की भावना लोगों में  कैसे  जाग्रत की जाये ? , कैसे उनमे सफाई की आदत विकसित की जाये ? , ये बड़ी टेडी खीर है , स्वच्छ भारत अभियान के माध्यम से भारत के प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने जो स्वच्छता की लों जलाई है उसे अब धीरे धीरे राज्य सरकारें भी अपना रही है और जनता भी , इसी कड़ी में एक राज्य जो नवाचार अपनाने में भारत का सबसे अग्रणी राज्य बनता जा रहा है पूर्व में साक्षरता दर में प्रथम राज्य की उपाधि , उसके बाद के-फोन प्रोजेक्ट के माध्यम से इस राज्य ने अपना सुपर किफायती स्वदेशी इंटरनेट भी कुछ दिन पहले ही लांच किया है , ये राज्य अब स्वच्छ भारत अभियान को भी नयी ऊंचाई देने का प्रयास कर रहा है  , केरल राज्य सरकार ने पूरे राज्य में एक योजना चलाई है जिसका नाम 'मालिन्य मुक्तम नवा केरला ' है ये केरला राज्य को कचरा मुक्त बनाने का कार्यक्रम है |  स्थानीय स्वशासन विभाग केरल ने एक आदेश में लिखा है कि सभी नागरिकों को कूड़ेदान के स्थान पर सार्वजनिक  स्थानों , निजी सम्पत्ति और जल निकायों में ठोस और तरल अपशिष्ट फेंके जान

अब एक साथ करें दो दो विषयोँ में Ph.D

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 नयी शिक्षा नीति 2020  विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (UGC) नयी शिक्षा नीति के अंतर्गत विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (UGC) इस शैक्षणिक सत्र 2023 से कई बदलाव करने जा रहा है इसके अंतर्गत अब योग्यताओं को पूरा करने वाले विद्यार्थी को  विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (UGC)  एक साथ दो या दो से अधिक विषयों में Ph.D करने का मौका देगा , चार वर्षीय  ग्रेजुएशन  और पोस्ट ग्रेजुएशन कार्यक्रमों का संचालन करने वाले संस्थान इसके तहत Ph.D कोर्स के लिए भी एडमिशन ले सकते है , Ph.D  के लिए ये नियम सत्र 2023 - 2024 से ही आरम्भ किया जायेगा , कोई भी कॉलेज जिनकी डिग्री उच्च शिक्षण संस्थानों की और से दी जाती है वह भी  विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (UGC) के दिशा निर्देशों के आलोक में  Ph.D कार्यक्रम शुरू कर सकते है |  नए नियमों के अनुसार  Ph.D में एडमिशन लिखित परीक्षा और इंटरव्यू के आधार पर होगा , परीक्षा में न्यूनतम 50 अंक लाना अनिवार्य है , नए नियमों के अनुसार  Ph.D में दाखिले के लिए परीक्षार्थी को 70 प्रतिशत लिखित में और 30 प्रतिशत अंक साक्षात्कार में लाने के बाद ही मेरिट में स्थान मिल सकेगा ,  Ph.D कोर्स पूरा करने की अवधि 3 व

MBBS COURSE को लेकर NMC के नए निर्देश

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अब नौ वर्ष में करना होगा कोर्स पूरा  MBBS COURSE अब सभी मेडिकल कॉलेजेस में ग्रेजुएट मेडिकल कोर्स के लिए एडमिशन के लिए एक ही कॉमन काउंसिलिंग होगी ,  NMC के नए निर्देशों के अनुसार ये परिवर्तन ग्रेजुएट मेडिकल एजुकेशन रेगुलेशन 2023 के माध्यम से किया गया है , इसके साथ ही अब MBBS COURSE करने वाले छात्रों को एडमिशन की दिनांक से नौ वर्ष के अंदर MBBS को पूरा करना होगा , इसमें भी उन्हें प्रथम वर्ष की परीक्षा पास करने के लिए मात्र चार अवसर दिए जायेंगे , तथा छात्र को नौ वर्ष की अवधि में कोर्स पूरा करना होगा इसके बाद कोर्स जारी रखने की अनुमति नहीं दी जाएगी |  नीट अंडर ग्रेजुएट परीक्षा 2023 का परीक्षा परिणाम आज दिनांक 13 जून 2023 को दोपहर के बाद जारी किया जा सकता है | कम्पल्सरी रोटेटिंग मेडिकल इंटर्नशिप रेगुलेशन 2021 के अनुसार ग्रेजुएट मेडिकल कोर्स प्रोग्राम में भर्ती हुए छात्रों को तब तक ग्रेजुएट की डिग्री नहीं दी जाएगी जब तक वह अपनी  रोटेटिंग मेडिकल इंटर्नशिप पूरी नहीं कर लेता है | कॉमन काउंसिलिंग प्रोग्राम के लिए अंडर ग्रेजुएट मेडिकल एजुकेशन बोर्ड के संचालन और निर्देशन में दिशा निर्देश जारी किये

अटल उत्कृष्ट शिक्षक और राजकीय संघ चुनाव

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 कोई इनकी भी सुनों प्रभु  राजकीय शिक्षक संघ चुनाव  राजकीय शिक्षक संघ के चुनाव आ चुके है कई पूर्व और कई नए प्रत्याक्षी उम्मीदवार है सभी को अपने अपने चुनाव घोषणा पत्र पर यकीन है कि उनकी जीत सुनिश्चित है लेकिन कुछ बाते ऐसी है जिनकी तरफ किसी ने खास तवज्जो नहीं दी है ,न जानें क्यों, उन शिक्षकों की इसमें क्या गलती है कि कोई उम्मीदवार उनकी चिंताओं की खैर खबर भी नहीं लेना चाहता है ,  शायद एक बड़ी वजह ये भी है कि इन शिक्षकों की संख्या अधिक प्रभावशाली नहीं है इनका मत प्रतिशत भी काफी कम है लेकिन क्या मत प्रतिशत कम होने से समस्या की तीव्रता कम हो जाती है क्या वो शिक्षक राजकीय संघ के सदस्य नहीं है ?, क्या उन्होंने सदयस्ता शुल्क देकर संघ पर अपना भरोसा नहीं जताया है ?  , क्या राजकीय संघ की उनके प्रति कोई जिम्मेदारी नहीं है ? |  अटल उत्कृष्ट राजकीय विद्यालयों में कार्यरत शिक्षकों की दो श्रेणियाँ है पहली श्रेणी वह है जो अटल की परीक्षा उत्तीर्ण कर अटल विद्यालयों में कार्यरत है इनमे भी उन शिक्षकों के बारे में राजकीय संघ आजतक कोई ठोस कदम नहीं जो पूर्व से अटल विद्यालयों में कार्यरत थे और उन्होंने इस प्रत्या

विश्व बाल श्रम दिवस

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आइये बच्चों के बचपन को बचाएं  विश्व बाल श्रम दिवस  विश्व बाल मज़दूरी विरोधी दिवस (World Day Against Child Labour) प्रतिवर्ष 12 जून को मनाया जाता है। यह दिवस विश्व स्तर पर बाल मज़दूरी के खिलाफ जागरूकता फ़ैलाने के लिए आयोजित किया जाता है। इस दिन के माध्यम से, लोगों को बाल मज़दूरी के खिलाफ लड़ाई में जुड़ने और ऐसी प्रथाओं को रोकने के लिए संकल्प लेने का अवसर मिलता है। बाल मज़दूरी वह प्रथा है जिसमें बच्चे अपनी उम्र के अनुकूल नहीं काम कराये जाते हैं और उन्हें शिक्षा और खेल के अधिकार से वंचित किया जाता है। यह एक गंभीर समस्या है जो देशों की सभी विभाजनों में प्रभावित करती है, लेकिन विशेष रूप से विकासशील और पिछड़े देशों में इसकी प्रमुखता होती है। यह दिवस 2002 में विश्व काम करने वाले बच्चों के खिलाफ एक जागरूकता अभियान के रूप में शुरू हुआ था और यह 2002 से हर साल मनाया जाता आया है। यह विश्व स्तरीय अभियान, एक आधिकारिक उम्मीद है, दुनिया भर में बाल मज़दूरी को समाप्त करने के लिए साझा किये गए संकल्प को अंगीकार करेगा और इससे प्रभावी कार्रवाई लेने का प्रोत्साहन प्रदान करेगा। इस दिन को मनाने का मुख्य उद्देश