कारगिल का युद्ध एक नज़र में
- लिंक पाएं
- X
- ईमेल
- दूसरे ऐप
कारगिल का युद्ध एक नज़र में
कारगिल का युद्ध |
कारगिल का युद्ध (कारगिल युद्ध) भारत और पाकिस्तान के बीच 1999 में हुआ एक महत्वपूर्ण संघर्ष था। यह युद्ध कश्मीर विवाद के कारण भड़का था, जिसमें भारतीय सेना और पाकिस्तानी सैन्य बलों के बीच जंग हुई। यह युद्ध कश्मीर के उत्तरी हिस्से में स्थित कारगिल और द्रास सेक्टर में हुआ था। इस युद्ध में भारतीय सेना ने संघर्ष के बावजूद वीरता और दृढ़ता के साथ अपने लक्ष्य को प्राप्त किया। आइए, इस युद्ध की विस्तृत जानकारी एक नजर में देखें:
युद्ध की विशेषताएँ:
- यह युद्ध कारगिल के शून्य स्थानों में हुआ, जहां तापमान बेहद ठंडा रहता है और भारतीय सैनिकों को बहुत मुश्किलातों का सामना करना पड़ा।
- यह युद्ध घरेलू और विदेशी मीडिया के ध्यान को आकर्षित करता था और बहुत उच्च स्तरीय मीडिया कवरेज हुई।
- भारतीय सेना ने पहले ख़ुद भारतीय वायुसेना के वायुसैन्यों द्वारा वायु और गोलाबारूद संघर्ष शुरू किया, जिससे पाकिस्तानी सेना को भीतरी क्षति हुई। इसके बाद, भारतीय सेना ने सतत भारतीय अख़बारों और शौर्य जीतने वाले सैनिकों की कहानियों द्वारा देशवासियों को प्रेरित किया।
- कारगिल युद्ध में भारतीय सेना ने बड़े सौहार्दपूर्वकता के साथ रिस्कों का सामना किया और अपने लक्ष्य को प्राप्त किया। इसमें भारतीय सैन्य बलों के बहुत से योद्धाओं ने वीरगति प्राप्त की।
विशेष जिक्र:
एक बहुत अहम घटना जुलाई 1999 में हुई जब भारतीय सेना ने टॉलोलिंक और प्वारीटोप चोटियों को वापस किया। इससे पाकिस्तानी सेना को अपनी सारी योजनाएं बदलनी पड़ी और वे अपने युद्ध योजनाओं को बंद करने के लिए मजबूर हुए।
युद्ध के दौरान कारगिल में लगभग 500 से अधिक भारतीय सैनिकों की जानें चली गई थी, जिनमें कई जवान अपनी ताकत और साहस के लिए प्रशंसा प्राप्त करने के लिए शहीद हुए।
कारगिल का युद्ध भारतीय इतिहास में एक महत्वपूर्ण घटना रहा है और यह भारतीय सेना की बहादुरी, साहस और निश्चय को प्रशंसा करता है। इस युद्ध के माध्यम से भारतीय सेना ने अपने शौर्य को पूरी दुनिया के सामने प्रदर्शित किया और देशवासियों में गर्व का भाव भर दिया।
भारत के कुछ शहीदों के नाम -
कारगिल युद्ध में भारतीय सेना ने अपने सैनिकों के साहस और बलिदान के लिए प्रशंसा करने वाले अनेकों वीर शहीद हुए थे। इस युद्ध में शहीद हुए कुछ प्रमुख भारतीय सैनिकों के नाम निम्नलिखित हैं:
कैप्टन विक्रम बत्रा (Captain Vikram Batra): कैप्टन विक्रम बत्रा युद्ध में अपने शौर्य के लिए अधिक प्रसिद्ध हुए थे। उन्होंने 13,500 फीट की ऊंची पिंडारी चोटी को फिर से जीत के नाम से पुनर्निर्माण किया था, लेकिन उनके शौर्य के लिए उन्हें दिवांगत कर दिया गया।
नाईकी अनार सिंह (Naik Anuj Nayyar): नाईकी अनुज नय्यर ने भी अपने साहसी सेवा के लिए प्रसिद्ध हुए थे। उन्होंने द्रास क्षेत्र में पाकिस्तानी सैन्य बलों के साथ झड़प के दौरान अपनी जान गँवाई थी।
सेना नायक रमेश यादव (Sena Nayak Ramesh Yadav): सेना नायक रमेश यादव भी एक बहुत ही उदात्त सैनिक थे, जिन्होंने युद्ध के दौरान अपनी जान की बाजी लगा दी थी।
सेना नायक संजय सिंह (Sena Nayak Sanjay Singh): सेना नायक संजय सिंह भी अपने सैन्य कुशलता और साहस के लिए अपनी जान की बाजी लगाने के लिए प्रसिद्ध हुए थे।
शेर सिंग भांगडे भी एक वीर सैनिक थे, जिन्होंने कारगिल युद्ध में बड़ी हिम्मत और बलिदान दिखाया था।
ये कुछ नाम हैं जो कारगिल युद्ध में भारत की सेना के लिए अपनी जान दे गए थे। इस युद्ध में और भी बहुत सारे सैनिकों ने शौर्य दिखाया था और उन्हें याद करके हम उनको श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं। उनका बलिदान देश के लिए अमर रहेगा |
YOU MAY ALSO LIKE IT-
- पृथ्वी की आंतरिक संरचना का विवरण
- केदारनाथ घाटी में हेलीकाप्टर के शोर से मुक्त बनेंगे स्कूल
- पुरानी पेंशन स्कीम पर वित्त मंत्रालय का बड़ा अपडेट
- भारतीय रेल का टिकट ऑनलाइन कैसे बुक करें
- दारुल उलूम देवबंद के खिलाफ राष्ट्रीय बाल आयोग ने की शिकायत
- कचरा फेकनें वालों की वीडियो दिखाओं 2500 रूपये ले जाओ
- लिंक पाएं
- X
- ईमेल
- दूसरे ऐप
टिप्पणियाँ
एक टिप्पणी भेजें
please do not enter any spam link in the comment box.