वित्तीय वर्ष 2025-26 के लिए विभागीय आय व्ययक तैयार किये जाने के सम्बन्ध में

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वित्तीय वर्ष 2025-26  के लिए विभागीय आय व्ययक  पेज 01  पेज 02  YOU MAY ALSO LIKE IT- हिममेधा ब्लॉग उत्तराखण्ड में शिक्षकों को दुर्गम की सेवाओं का दोगुना लाभ मिलना शुरू  इस पड़ौसी राज्य में अब सहायक अध्यापक भी बन सकेंगे प्रधानाचार्य  प्रोजेक्ट कार्य सामाजिक विज्ञान- यूरोप में समाजवाद और रुसी क्रांति  सीबीएसई परीक्षा में स्कूल ने गलती से छात्रा को दे दिए जीरो मार्क्स, अब कोर्ट ने लगाया 30 हजार रूपये का जुर्माना  उत्तराखण्ड बोर्ड ने घोषित की प्रैक्टिकल और बोर्ड परीक्षा की डेट

इस राजकीय इंटर कॉलेज में शिक्षकों के साथ मिलकर रोबोट करेगा मदद विज्ञान पढ़ाने में

क्या रोबोट बनेगा शिक्षक से बेहतर सीखाने वाला ?

इंटर कॉलेज में रोबोट करेगा मदद

रोबोटिक्स और AI ने मिलकर दुनिया का लब्बो लबाब बदलने की ठानी है आज AI ने जीवन के हर क्षैत्र में अपना प्रभाव छोड़ा है | उत्तर प्रदेश के राजकीय इंटर कॉलेज निशांतगंज में उत्तर प्रदेश की पहली रोबोटिक्स प्रयोगशाला स्थापित की जा रही है जिसका निर्माण कार्य अपने अंतिम दौर में है इसे अगले शिक्षा सत्र 2024 -2025 से आरम्भ करने की योजना है , माध्यमिक शिक्षा विभाग की पहल पर ये प्रयोग किया गया है इस विद्यालय में इंटरमीडिएट में विज्ञान वर्ग की कक्षाओं में ये रोबोटिक्स लेबोरेटरी शिक्षा के स्तर को एक नयी ऊंचाई देंगी | माध्यमिक विभाग के अनुसार विज्ञान वर्ग के छात्रों को पहले रोबोटिक्स की पढ़ाई कराने के लिए बाहर से अध्यापक और एक्सपर्ट्स को बुलाया जायेगा इसके बाद क्रमबद्ध रूप से छात्रों और शिक्षकों के साथ मिलकर प्रोजेक्ट के रूप में ऐसे रोबोट्स को विकसित किया जायेगा जो AI के साथ मिलकर अन्य छात्रों को विज्ञान की पढ़ाई कराने में सक्षम हो  इससे छात्रों को वैश्विक स्तर पर प्रतियोगिता में शामिल अवसर मिलेगा | 

ये प्रोजेक्ट अभी प्रयोग के रूप में है अगर ये प्रयोग सफल रहता है तो रोबोटिक्स प्रयोगशाला को एक विषय के रूप में मान्यता देकर इसे बढ़ावा दिया जायेगा | रोबोट शिक्षक का स्थान तो नहीं ले सकता है लेकिन उसके पास ज्ञान का अपार भंडार संचित किया जा सकता है जिसे वो टेराबइट्स या और बड़े पैमाने में स्टोर कर उस सूचना को मांगे जाने पर एक शिक्षक से अधिक तेजी से और विस्तार से बता सकता है लेकिन रोबोटिक्स की सबसे बड़ी समस्या ये है कि उसके पास नैतिक समझ और अच्छे बुरे का ज्ञान नहीं है उसकी प्रोसेस करने की सीमा भी एक शिक्षक से कम ही रहेगी क्योंकि व्यक्ति के न्यूरॉन्स रोबोटिक्स से ज्यादा तेजी से सक्रिय होते है AI तो वो केवल सूचना को प्रोसेस करना जानता है इसलिए शिक्षक की आवश्यकता हमेशा रोबोटिक्स से अधिक रहेगी | 

विभाग के अनुसार इस रोबोटिक्स प्रयोगशाला में न केवल रोबोटिक्स की पढ़ाई होगी बल्कि इलेक्ट्रॉनिक्स डिवाइस के माध्यम से इंजीनियरिंग के बारे में भी छात्रों को सीखाया जायेगा | इससे शिक्षा के क्षेत्र में रोबोटिक्स और AI को नयी पहचान मिलेगी | 

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